कभी मन उदास हो कर
कहीं चले जाने को करता
कहीं और जाकर नये दोस्त
ढूँढने के लिए मचलता
पर यह है उसकी चंचलता
जो सच यहाँ है
वही वहाँ भी है
धोखे और वफ़ा तो कहीं भी हो सकते
जगह बदलने से हालात नही बदल सकते
सच जानते हुए भी मन क्यों मचलता
खुशी हो या गम-हिंदी शायरी
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*अपनी धुन में चला जा रहा थाअपने ही सुर में गा रहा थाउसने कहा‘तुम बहुत अच्छा
गाते होशायद जिंदगी में बहुत दर्दसहते जाते होपर यह पुराने फिल्म...
16 years ago
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